सावन पूर्णिमा
सावन माह की पूर्णिमा का बहुत महत्व माना जाता है। मान्यता है कि यह पूर्णिमा भगवान शिव और माता पार्वती के संगम के प्रतीक मानी जाती है। ऐसे में आइये जानते हैं सावन पूर्णिमा की तिथि, शुभ मुहूर्त और महत्व के बारे में।

Sawan Purnima 2023 Date, Shubh Muhurat Aur Mahatva: हिन्दू धर्म में पूर्णिमा तिथि को बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। पंचांग के अनुसार, कुल 12 पूर्णिमा तिथियां पड़ती हैं। इन्हीं में से एक है सावन की पूर्णिमा जो सुहागिनों के लिए बहुत ही खास मानी जाती है। ज्योतिषाचार्य राधाकांत वत्स द्वारा दी गई जानकारी के आधार पर आइये जानते हैं सावन पूर्णिमा की तिथि, शुभ मुहूर्त और महत्व के बारे में।
सावन पूर्णिमा 2023 कब है (Sawan Purnima 2023 Kab Hai)
- इस साल अधिक मास पड़ रहा है जिसके कार दो पूर्णिमा तिथियां पड़ेंगी।
- एक सावन माह की पूर्णिमा और दूसरी सावन अधिक मास की पूर्णिमा।
- सावन पूर्णिमा तिथि आरंभ: 30 अगस्त, दिन बुधवार (बुधवार के उपाय), सुबह 10 बजकर 58 मिनट
- सावन पूर्णिमा तिथि समापन: 31 अगस्त, दिन गुरुवार, सुबह 7 बजकर 5 मिनट
- ऐसे में उदया तिथि के अनुसार, 31 अगस्त को सावन पूर्णिमा पड़ने के योग हैं।
- हालांकि अधिक मास के कारण सावन की पूर्णिमा तिथि 30 को मनाई जाएगी।
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सावन अधिक मास पूर्णिमा 2023 कब है (Sawan Adhik Maas Purnima 2023 Kab Hai)
- सावन अधिक मास पूर्णिमा तिथि आरंभ: 1 अगस्त, दिन मंगलवार, रात 3 बजकर 52 मिनट
- सावन अधिक मास पूर्णिमा तिथि समापन: 2 अगस्त, दिन बुधवार, रात 12 बजकर 1 मिनट
- ऐसे में उदया तिथि के अनुसार, सावन अधिक मास पूर्णिमा 1 अगस्त को पड़ेगी।

सावन पूर्णिमा 2023 शुभ मुहूर्त (Sawan Purnima 2023 Shubh Muhurat)
- स्नान दान के लिए शुभ मुहूर्त: सुबह 4 बजकर 28 मिनट से 5 बजकर 13 मिनट
- पूजा के लिए शुभ मुहूर्त: सुबह 7 बजकर 34 मिनट से 9 बजकर 10 मिनट
- लक्ष्मी पूजा के लिए मुहूर्त: सुबह 11 बजकर 59 मिनट से दोपहर 12 बजकर 44 मिनट
- चंद्रोदय का समय: शाम 6 बजकर 35 मिनट

सावन अधिक मास पूर्णिमा 2023 शुभ मुहूर्त (Sawan Adhik Maas Purnima 2023 Shubh Muhurat)
- स्नान दान के लिए शुभ मुहूर्त: सुबह 5 बजकर 14 मिनट से 6 बजे तक
- पूजा के लिए शुभ मुहूर्त: सुबह 7 बजकर 52 मिनट से 8 बजकर 54 मिनट
- लक्ष्मी पूजा के लिए मुहूर्त: सुबह 9 बजकर 12 मिनट से 9 बजकर 52 मिनट
- चंद्रोदय का समय: रात 7 बजकर 10 मिनट
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सावन पूर्णिमा 2023 महत्व (Sawan Purnima 2023 Mahatva)
- इस साल सावन की पूर्णिमा तिथि बहुत ही खास है।
- ऐसा इसलिए क्योंकि 19 साल बाद अधिक मास सावन में पड़ा है।
- अधिक मास के कारण ही सावन में दो पूर्णिमा तिथियों का योग है।
- धर्म शास्त्रों के अनुसार, सावन भगवान शिव (भगवान शिव के प्रतीक) को समर्पित है।
- अधिक मास विष्णु जी को अर्पित है। वहीं, पूर्णिमा तिथि मां लक्ष्मी को समर्पित है।
- इन तीनों की पूजा सावन पूर्णिमा के दिन करने से परम सुख प्राप्त होता है।
- भौतिक सुखों का जीवन में आनंद मिलता है और कष्ट मिट जाते हैं।
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